मैं ही आईएएस क्यों बन सकता हूँ? आप ही आईएएस क्यों बन सकते हो? आपको स्वयं को आईएएस के अनुकूल बनाना होगा। तो ऐसा कैसे है संभव? यह संभव है मानसिक ठोसपन से, विचारों की दृढ़ता से, और ठानकर उस पर डॅटे रहने की क्षमता से। ठानने की क्षमता तो बहुतों में देखी है मैंने, लेकिन ठानकर उस पर डटे रहने वालों की गिनती उंगलियों पर ही होती है। मैं यह मानता हूँ कि जो ठान सकता है, और ठानकर उस पर अमल कर सकता है, वह कुछ भी कर सकता है, फिर चाहे वह र्थर्ड डिविज़नर ही क्यों न हो। यदि आपने आई.ए.एस. बनने का फैसला कर ही लिया है, तो देश के इस सबसे बड़े और काफी कुछ कठिन दंगल में आपका स्वागत है। मेरी शुभकामनाएं भी हैं, और ईश्वर से आपके लिए प्रार्थना भी है कि वह लम्बे समय तक आपके धैर्य, आपके आत्मविश्वास और आपके जोश को बनाए रखे, क्योंकि ये बातें इसके लिए बहुत जरूरी होती हैं। फिर भी, इससे पहले कि मैं आपको यह बताऊं कि आप आई.ए.एस. कैसे बन सकते हैं, मैं आपसे एक प्रश्न पूछने की, बहुत ही जरूरी और मूलभूत प्रश्न पूछने की इजाजत चाहूँगा। मैं आपसे यह प्रश्न इसलिए पूछना चाह रहा हूँ, क्योंकि मैंने आई.ए...